श्री नरसिंह की आरती(विज्ञापन के बिना)

ओम जय नरसिंह हरे,प्रभु जय नरसिंह हरे |स्तंभ फाड़ प्रभु प्रकटे, स्तंभ फाड़ प्रभु प्रकटे,जनका ताप हरे || || ओम जय नरसिंह हरे… || तुम हो दिन दयाला, भक्तन हितकारी,प्रभु भक्तन हितकारी |अद्भुत रूप बनाकर, अद्भुत रूप बनाकर,प्रकटे भय हारी || || ओम जय नरसिंह हरे… || सबके ह्रदय विदारण, दुस्यु जियो मारी,प्रभु दुस्यु जियो …

गंगा मैया आरती(विज्ञापन के बिना)

ॐ जय गंगे माता, श्री जय गंगे माता |जो नर तुमको ध्याता, मनवांछित फल पाता || पुत्र सगर के तारे, सब जग को ज्ञाता |कृपा दृष्टि तुम्हारी, त्रिभुवन सुख दाता |||| ॐ जय गंगे माता..|| एक ही बार जो तेरी, शारणागति आता |यम की त्रास मिटा कर, परमगति पाता |||| ॐ जय गंगे माता..|| आरती …

शिवजी की आरती(विज्ञापन के बिना)

ॐ जय शिव ओंकारा, स्वामी जय शिव ओंकारा |ब्रह्मा, विष्णु, सदाशिव, अर्द्धांगी धारा ||||ॐ जय शिव ओंकारा…|| एकानन चतुरानन पञ्चानन राजे |हंसासन गरूड़ासन वृषवाहन साजे ||||ॐ जय शिव ओंकारा…|| दो भुज चार चतुर्भुज दसभुज अति सोहे |त्रिगुण रूप निरखते त्रिभुवन जन मोहे ||||ॐ जय शिव ओंकारा..|| अक्षमाला वनमाला मुण्डमाला धारी।त्रिपुरारी कंसारी कर माला धारी॥||ॐ जय …

श्री सत्यनारायणजी की आरती(विज्ञापन के बिना)

जय लक्ष्मी रमणा,स्वामी जय लक्ष्मी रमणा ।सत्यनारायण स्वामी,जन पातक हरणा || ॐ जय लक्ष्मी…|| रतन जड़ित सिंहासन,अदभुत छवि राजे ।नारद करत नीराजन,घंटा वन बाजे ||ॐ जय लक्ष्मी…|| प्रकट भए कलिकारण,द्विज को दरस दियो ।बूढ़ो ब्राह्मण बनकर,कंचन महल कियो ||ॐ जय लक्ष्मी…||दुर्बल भील कठोरो,जिन पर कृपा करी ।चंद्रचूड़ एक राजा,तिनकी विपत्ति हरि ||ॐ जय लक्ष्मी…|| वैश्य …

श्री वैष्णो देवी आरती(विज्ञापन के बिना)

जय वैष्णवी माता,मैया जय वैष्णवी माता ||हाथ जोड़ तेरे आगे,आरती मैं गाता || मैया जय…|| शीश पे छत्र विराजे,मूरतिया प्यारी |गंगा बहती चरनन,ज्योति जगे न्यारी || मैया जय…|| ब्रह्मा वेद पढ़े नितद्वारे, शंकर ध्यान धरे |सेवक चंवर डुलावत,नारद नृत्य करे || मैया जय…|| सुंदर गुफा तुम्हारी,मन को अति भावे |बार-बार देखन को,ऐ माँ मन चावे …

गणेश लक्ष्मी आरती(विज्ञापन के बिना)

जय गणेश जय गणेश,जय गणेश देवा |माता जाकी पार्वती,पिता महादेवा ||  जय गणेश जय गणेश,जय गणेश देवा ।माता जाकी पार्वती,पिता महादेवा ॥ एक दन्त दयावन्त,चार भुजा धारी |मस्तक सिंदूर सोहे,मूस की सवारी ||  जय गणेश जय गणेश,जय गणेश देवा |माता जाकी पार्वती,पिता महादेवा ||  पान चढ़े फूल चढ़े,और चढ़े मेवा |लडूअन का भोग लगे,सन्त करें सेवा ||  …

शनिदेव आरती(विज्ञापन के बिना)

जय जय श्री शनिदेव, भक्तन हितकारी,सूरज के पुत्र प्रभु, छाया महतारी,जय जय श्रीं शनिदेव || श्याम अंग वक्र दृष्टि, चतुर्भुजा धारी,नीलाम्बर धार नाथ, गज की असवारी,जय जय श्रीं शनिदेव || क्रीट मुकुट शीश रजित, दिपत है लिलारी,मुक्तन की माल गले, शोभित बलिहारी,जय जय श्रीं शनिदेव || मोदक मिष्ठान पान, चढ़त है सुपारी,लोहा तिल तेल उड़द, …

साईबाबा आरती(विज्ञापन के बिना)

आरती साईबाबा | सौख्यदातार जीवा |चरणरजातली | द्यावा दासा विसावा, भक्ता विसावा ||जाळुनियां अनंग | स्वस्वरूपी राहेदंग |मुमुक्षूजनां दावी | निज डोळा श्रीरंग || जयामनी जैसा भाव | तया तैसा अनुभव |दाविसी दयाघना | ऐसी तुझीही माव ||तुमचे नाम ध्याता | हरे संस्कृती व्यथा |अगाध तव करणी | मार्ग दाविसी अनाथा || कलियुगी अवतार | …

Saraswati Mata Ki Aarti(विज्ञापन के बिना)

ओम जय सरस्वती माता, जय जय सरस्वती मातासदगुण वैभव शालिनी, सदगुण वैभव शालिनीत्रिभुवन विख्याता, जय जय सरस्वती माता चन्द्रबदनि पद्मासिनि, कृति मंगलकारीमैय्या कृति मंगलकारी सोहे शुभ हंस सवारी, सोहे शुभ हंस सवारीअतुल तेज धारी जय जय सरस्वती माता बाएं कर में वीणा, दाएं कर मालामैय्या दाएं कर माला शीश मुकुट मणि सोहे, शीश मुकुट मणि …

माता जी की आरती(विज्ञापन के बिना)

अम्बे तू है जगदम्बे काली,जय दुर्गे खप्पर वाली,तेर ही गुण गावें भारती,हो मैया हम सब उतारे तेरी आरती ।  तेरे भक्त जानो पर मैईया भीड़ पड़ी है भारी,दानव दल पर टूट पड़ो माँ कर के सिंह सवारी । सौ सौ सिंहों से तू बलशाली,है दस भुजाओं वाली,दुखियों के दुख को निवारती ।हो मैया हम सब …